भारत में सरकारी नौकरी का सपना संजोए लाखों युवाओं के लिए SSC और बैंक पीओ परीक्षाएँ प्रमुख विकल्प हैं। इन दोनों परीक्षाओं के माध्यम से प्रतिष्ठित सरकारी पदों पर नियुक्ति होती है। लेकिन सवाल यह है कि किस परीक्षा में सफलता की संभावना अधिक है? इस लेख में हम SSC और बैंक पीओ परीक्षाओं की तुलना करेंगे और पिछले 10 वर्षों के तथ्यों के आधार पर सफलता दर का विश्लेषण करेंगे। SSC Vs Bank PO
SSC (Staff Selection Commission) परीक्षा
SSC परीक्षा का आयोजन भारत सरकार द्वारा विभिन्न मंत्रालयों और विभागों में ग्रुप बी और सी के पदों पर नियुक्ति के लिए किया जाता है। प्रमुख SSC परीक्षाओं में SSC CGL (Combined Graduate Level) और SSC CHSL (Combined Higher Secondary Level) शामिल हैं।
- परीक्षा पैटर्न: SSC CGL में चार चरण होते हैं – टीयर 1, टीयर 2, टीयर 3 और टीयर 4। वहीं, SSC CHSL में तीन चरण होते हैं – टीयर 1, टीयर 2 और टीयर 3।
- सिलेबस: सामान्य जागरूकता, गणित, अंग्रेजी, और रीज़निंग मुख्य विषय होते हैं।
- सफलता दर: पिछले 10 वर्षों में SSC परीक्षाओं की सफलता दर औसतन 1-2% रही है।
बैंक पीओ (Probationary Officer) परीक्षा
बैंक पीओ परीक्षा का आयोजन विभिन्न बैंकों द्वारा प्रोबेशनरी ऑफिसर पदों पर भर्ती के लिए किया जाता है। प्रमुख बैंक पीओ परीक्षाओं में SBI PO और IBPS PO शामिल हैं।
- परीक्षा पैटर्न: बैंक पीओ परीक्षा तीन चरणों में होती है – प्रारंभिक परीक्षा, मुख्य परीक्षा, और साक्षात्कार।
- सिलेबस: अंग्रेजी, गणित, रीज़निंग, सामान्य जागरूकता, और कंप्यूटर ज्ञान।
- सफलता दर: पिछले 10 वर्षों में बैंक पीओ परीक्षाओं की सफलता दर औसतन 2-3% रही है।
पिछले 10 वर्षों का तुलनात्मक डेटा (SSC Vs Bank PO)
SSC CGL परीक्षा
- 2023: 30 लाख आवेदन, 8,000 चयनित (सफलता दर: 0.27%)
- 2022: 28 लाख आवेदन, 7,000 चयनित (सफलता दर: 0.25%)
- 2021: 27 लाख आवेदन, 6,000 चयनित (सफलता दर: 0.22%)
- 2020: 25 लाख आवेदन, 8,500 चयनित (सफलता दर: 0.34%)
- 2019: 24 लाख आवेदन, 8,500 चयनित (सफलता दर: 0.35%)
- 2018: 25.97 लाख आवेदन, 11,271 चयनित (सफलता दर: 0.43%)
- 2017: 30 लाख आवेदन, 10,661 चयनित (सफलता दर: 0.36%)
- 2016: 38 लाख आवेदन, 10,661 चयनित (सफलता दर: 0.28%)
- 2015: 28.33 लाख आवेदन, 8,561 चयनित (सफलता दर: 0.30%)
- 2014: 20 लाख आवेदन, 12,427 चयनित (सफलता दर: 0.62%)
बैंक पीओ परीक्षा (SBI + IBPS)
- 2023: 20 लाख आवेदन, 12,000 चयनित (सफलता दर: 0.60%)
- 2022: 19 लाख आवेदन, 11,500 चयनित (सफलता दर: 0.61%)
- 2021: 18 लाख आवेदन, 11,000 चयनित (सफलता दर: 0.61%)
- 2020: 17 लाख आवेदन, 10,500 चयनित (सफलता दर: 0.62%)
- 2019: 20 लाख आवेदन, 9,500 चयनित (सफलता दर: 0.47%)
- 2018: 18 लाख आवेदन, 10,000 चयनित (सफलता दर: 0.56%)
- 2017: 17 लाख आवेदन, 9,500 चयनित (सफलता दर: 0.56%)
- 2016: 15 लाख आवेदन, 10,000 चयनित (सफलता दर: 0.67%)
- 2015: 14 लाख आवेदन, 11,000 चयनित (सफलता दर: 0.79%)
- 2014: 13 लाख आवेदन, 12,000 चयनित (सफलता दर: 0.92%)
निष्कर्ष (SSC Vs Bank PO)
1. प्रतिस्पर्धा और सफलता दर
SSC और बैंक पीओ दोनों ही परीक्षाओं में भारी प्रतिस्पर्धा है। हालांकि, बैंक पीओ की सफलता दर SSC की तुलना में थोड़ी अधिक रही है। इसका कारण बैंक पीओ पदों की उच्च संख्या और बैंकिंग सेक्टर की बढ़ती मांग है।
2. परीक्षा पैटर्न और तैयारी
दोनों परीक्षाओं के परीक्षा पैटर्न और सिलेबस में काफी अंतर है। SSC में मुख्य रूप से सरकारी मंत्रालयों और विभागों के लिए परीक्षा होती है, जबकि बैंक पीओ में बैंकों के प्रोबेशनरी ऑफिसर के पदों के लिए परीक्षा होती है।
3. कौन सी परीक्षा बेहतर है?
यह पूरी तरह से उम्मीदवार की पसंद, योग्यता और करियर की दिशा पर निर्भर करता है। यदि आप सरकारी मंत्रालयों में काम करना चाहते हैं, तो SSC एक बेहतर विकल्प है। वहीं, यदि आप बैंकिंग सेक्टर में करियर बनाना चाहते हैं, तो बैंक पीओ परीक्षा बेहतर है।
4. तैयारी की रणनीति
दोनों परीक्षाओं के लिए कठोर मेहनत और सही रणनीति की जरूरत होती है। समय प्रबंधन, नियमित अध्ययन, और मॉक टेस्ट की प्रैक्टिस सफलता की कुंजी है।
अंततः, SSC और बैंक पीओ दोनों ही परीक्षाएँ सरकारी नौकरी पाने के महत्वपूर्ण साधन हैं। सही मार्गदर्शन और मेहनत से आप इनमें से किसी भी परीक्षा में सफलता प्राप्त कर सकते हैं। उम्मीद है कि यह लेख आपको इन दोनों परीक्षाओं की तुलना करने और अपने करियर के लिए सही निर्णय लेने में मदद करेगा।